जो करते अभिमान स्वयं पर
जो करते अभिमान स्वयं पर
नीचे वे गिर जाते हैं।
काल ठोकरें ऐसी मारे
कभी नहीं उठ पाते हैं।
कंस हुआ रावण बलशाली
अंत सभी का 'रोज' कहे,
अभिमानी तो जीव जल्द ही
मिट्टी में मिल जाते हैं।
जो करते अभिमान स्वयं पर
नीचे वे गिर जाते हैं।
काल ठोकरें ऐसी मारे
कभी नहीं उठ पाते हैं।
कंस हुआ रावण बलशाली
अंत सभी का 'रोज' कहे,
अभिमानी तो जीव जल्द ही
मिट्टी में मिल जाते हैं।